Wednesday 22 March 2017

Manushy ki kimat

एक आदमी ने भगवान बुद्ध  से पुछा : जीवन का मूल्य क्या है?

बुद्ध  ने उसे एक Stone दिया और कहा : जा और इस stone का
मूल्य पता करके आ , लेकिन ध्यान रखना stone को बेचना नही है I

वह आदमी stone को बाजार मे एक संतरे वाले के पास लेकर गया और बोला : इसकी कीमत क्या है?

संतरे वाला चमकीले stone को देखकर बोला, "12 संतरे लेजा और इसे मुझे दे जा"

आगे एक सब्जी वाले ने उस चमकीले stone को देखा और कहा
"एक बोरी आलू ले जा और इस stone को मेरे पास छोड़ जा"

आगे एक सोना बेचने वाले के
पास गया उसे stone दिखाया सुनार उस चमकीले stone को देखकर बोला,  "50 लाख मे बेच दे" l

उसने मना कर दिया तो सुनार बोला "2 करोड़ मे दे दे या बता इसकी कीमत जो माँगेगा वह दूँगा तुझे..

उस आदमी ने सुनार से कहा मेरे गुरू ने इसे बेचने से मना किया है l

आगे हीरे बेचने वाले एक जौहरी के पास गया उसे stone दिखाया l

जौहरी ने जब उस बेसकीमती रुबी को देखा , तो पहले उसने रुबी के पास एक लाल कपडा बिछाया फिर उस बेसकीमती रुबी की परिक्रमा लगाई माथा टेका l

फिर जौहरी बोला , "कहा से लाया है ये बेसकीमती रुबी? सारी कायनात , सारी दुनिया को बेचकर भी इसकी कीमत नही लगाई जा सकती ये तो बेसकीमती है l"

वह आदमी हैरान परेशान होकर सीधे बुद्ध  के पास आया l

अपनी आप बिती बताई और बोला "अब बताओ भगवान , मानवीय जीवन का मूल्य क्या है?

 बुद्ध  बोले :

संतरे वाले को दिखाया उसने इसकी कीमत "12 संतरे" की बताई l

सब्जी वाले के पास गया उसने इसकी कीमत "1 बोरी आलू" बताई l

आगे सुनार ने "2 करोड़" बताई lऔर जौहरी ने इसे "बेसकीमती" बताया l

अब ऐसा ही मानवीय मूल्य का भी है l

तू बेशक हीरा है..!!लेकिन, सामने वाला तेरी कीमत,
अपनी औकात - अपनी जानकारी -  अपनी हैसियत से लगाएगा।

Respect Yourself,
You are very Unique..👌👌👌👌👌





Friday 10 March 2017

Intrested knowledge About jupitar

" दिव्यांश ज्योतिष् केंद्र"

बृहस्पति ग्रह की  अत्यन्त रोचक जानकारी
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प्रिय मित्रो,
               आज मैं आपको हर इंसान के जीवन में अहम रोल निभाने वाले बृहस्पति ग्रह की कुछ रोचक जानकारी दे रहा हूँ ।शायद आपको यह नहीं मालूम होगा की जीवन के बहुत सी नेगेटिव परिस्थिति को बृहस्पति पोसिटिव बना देता है।
               उदाहरण -यदि आपकी शादी नहीं हो रही हो , नौकरी व्यवसाय में सफलता नही मिल रही हो, मुकदमें में विजय नहीं मिल रही हो।
               कोई बीमारी ठीक नही हो रही हो,घर ,प्रॉपर्टी ,गाड़ी  इत्यादि-इत्यादि काम में सफलता नहीं मिल रही हो ,तलाक की स्थिति बं रही हो। यदि इन पर बृहस्पति देव की दृष्ट पद जाय तो आपका काम तुरंत होगा। इसलिए इनके बारे में जानना अति आवश्यक है।
             
               आज मैं इन्हीं बृहस्पति देव की भौगोलिक स्थिति के बारे में बात रहा हूँ जो निम्नवत है।
             
बृहस्पति ग्रह सूर्य से 5वाँ और हमारे सौरमंडल का सबसे बड़ा ग्रह हैं. इसे गैस का दानव भी कहते हैं. पीले रंग के इस ग्रह को अंग्रेजी में Jupiter कहते हैं.

1. बृहस्पति ग्रह 90% hydrogen, 10% helium और कुछ मात्रा में methane, water, amonia और चट्टानी कणों से मिलकर बना हुआ हैं.

2. बृहस्पति ग्रह को सौरमंडल का ‘वैक्युम क्लीनर’ भी कहा जाता हैं यह पृथ्वी को विनाशकारी हमलों से बचाता हैं.

3. बृहस्पति बहुत ही ठंडा ग्रह हैं. इसका Average Temp. हैं -145°C.

4. ब्रहस्पति ग्रह की कोई जमीन नहीं हैं यह पूरी तरह गैस के बादलों से बना हुआ ग्रह हैं.

5. बृहस्पति ग्रह पर आज तक 7 यान भेजा जा चुके हैं.

6. जुपिटर ग्रह सबसे पुराने ग्रहों में से एक है जुपिटर के जरिये पृथ्वी की उत्पति के बारे में पता लगाया जा सकता हैं.

7. जूपिटर का मैग्नेटिक फील्ड बहुत मजबूत होता हैं. यदि हम जूपिटर के सतह पर खड़े हो जाए तो हमारा वजन अपने असली वजन से 3 गुना ज्यादा होगा.

8. बृहस्पति ग्रह पृथ्वी से 11 गुना भारी और इसका द्रव्यमान 317 गुना ज्यादा हैं.

9. बृहस्पति ग्रह का चंद्रमा, गैनीमेडे, हमारे पूरे सौर मंडल का सबसे बड़ा चंद्रमा हैं.

10. बृहस्पति के कम से कम 64 चन्द्रमा हैं इसके सबसे बड़े चंद्रमा गैनीमेडे पर एक भूमिगत समंदर हैं जिसमें पूरी पृथ्वी से ज्यादा पानी हैं.

11. 7वीं या 8वीं शताब्दी की प्रजातिBabylonians ने सबसे पहले इस ग्रह को देखा था। इसका नाम रोमन देवताओं के राजा के नाम पर रखा गया हैं.

12. बृहस्पति हमारी आकाश गंगा का सबसे बड़ा ग्रह है, यह इतना बड़ा है की यदि शेष सभी ग्रह को आपस में जोड़ दिया जाये तो वह संयुक्त ग्रह भी बृहस्पति से छोटा ही रहेगा.

13. अगर धरती का आकार एक मटर जितना कर दें तो बृहस्पति इससे 300 मीटर दूर होगा.

14. ब्रहस्पति ग्रह पर एक विशाल गड्ढा है जिसमें से आग की लपटे निकलती रहती है जिसमे यह विशाल लाल धब्बे जैसा दिखाई देता हैं.

15. जुपिटर पर पाए जानें वाला लाल धब्बा दरअसल एक बड़ा तूफान हैं जो कम से कम 350 सालों से ऊफान पर हैं. ये तूफान इतना ज्‍यादा बड़ा हैं कि इसमें तीन पृथ्‍वी समा सकती हैं.

16. सोलर सिस्‍टम का चौथा सबसे ज्‍यादा चमकने वाला ग्रह हैं. इसके अलावा जो अन्‍य ग्रह चमकते है वो हैं सूरज, चांद और वीनस.

17. जुपिटर पर सभी ग्रहों के मुकाबले सबसे छोटा दिन होता हैं. ये अपनी धुरी पर हर 9 घंटे 55 मिनट में घूमता हैं. जल्‍दी-जल्‍दी घूमने के चक्‍कर में ये थोड़ा चपटा नजर आता हैं.

18. बृहस्पति ग्रह को देखने के लिए किसी यंत्र की जरूरत नही होती. इसे हम खुली आंखो से देखा जा सकता हैं.
धन्यवाद,
            आचार्य राजेश कुमार
            मोब-9454320396

Monday 6 February 2017

आज गुरुदेव कन्या राशि में बक्री हुए

"दिव्यांश ज्योतिष् केंद्र"
            आज  कन्या राशि में गुरु वक्री हुए
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आज दिनांक 6 फ़रवरी 2017 को 12:12 बजे गुरु कन्या राशि में वक्री हो रहे हैं जो कि 9 जून 2017 को 19:35 बजे यहाँ से अग्रसर होंगे,  इस वक्री होने के दौरान गुरु का प्रभाव आपके जीवन पर कैसे पड़ेगी यह जानने के लिए अपनी राशिफल अवश्य पढ़े ।

मेष

वक्री के दौरान गुरु आपके छटे भाव में रहेगा। ऐसे में आप बेहतर परिणाम पाने के लिए बहुत मेहनत करेंगे। आपके स्वास्थ्य में भी वक्री के दौरान ज़बरदस्त सुधार देखने को मिलेगा। आप मोटापा के शिकार हो सकते हैं, लिहाज़ा इसका ख़्याल रखें। हालाँकि कुछ क़ानूनी मसले आपको परेशान कर सकते हैं, परंतु चिंता की कोई बात नहीं है उनका परिणाम आपके हित में होगा। वहीं जो छात्र उच्च शिक्षा का विचार कर रहे हैं किस्मत उनके साथ है। आप अपने जन्मस्थान को लेकर कोई बड़ा निर्णय ले सकते हैं। आप अपनी इनकम में वृद्धि को लेकर नए श्रोतों को खोजने में सफल रहेंगे, जो आपके भविष्य को संवारेगा। आपके पिता भी आप पर गर्व महसूस करेंगे।

उपाय: पानी में हल्दी डालकर नहाएँ।

वृषभ

वक्री के दौरान गुरु आपके पाँचवें भाव में रहेगा, जिससे आपको शिक्षाक्षेत्र में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव देखने को मिलेंगे। आर्थिक पक्ष के लिहाज से अचानक लाभ मिलेगा, जिससे आपकी आय में इज़ाफ़ा होगा, हालाँकि इसके लिए आपको कड़ी मेहनत भी करनी होगी। आपकी रुचि ज्ञान प्राप्त करने एवं कुछ सीखने के प्रति कुछ ज़्यादा होगी। पर्सनल रिलेशनशिप में आप बड़ा बदलाव पाएंगे। हो सकता है इस रिश्ते को आप शादी में बदलने का वादा करें। इस दौरान आप किसी विवाद आदि में न पड़े अन्यथा आपके लिए यह बड़ी समस्या पैदा कर सकता है। बच्चों को लाभ मिलेगा। छात्र भी शिक्षा क्षेत्र में अपने लक्ष्यों को भेदेंगे। बड़े भाई-बहन से आपको निश्चित ही कोई लाभ मिलने की संभावना है। कार्यक्षेत्र में यदि आपको कोई दिक़्क़त आएगी तो सीनियर्स की सहायता वह समस्या दूर हो जाएगी। आध्यात्म में आपकी रुचि बढ़ेगी।

उपाय: अपने दाहिने हाथ में सरसों के सात बीज पकड़ें और मुख को सात बार घड़ी की विपरीत दिशा में घुमाएँ और बाद में बीज फेंक दें।

मिथुन

वक्री के दौरान गुरु की कृपा आपके चौथे भाव में होगी। ऐसे में आपके वैवाहिक जीवन में इसका सकारात्मक असर देखने को मिलेगा। आप किसी तीर्थ यात्रा पर भी जा सकते हैं। पेशेवर जीवन में लाभ मिलेगा। साथ ही यदि आप साझेदारी में व्यवसाय कर रहे हैं तो आपको व्यापार में मुनाफ़ा देखने को मिलेगा। कार्यक्षेत्र में भी आपको बेहतर परिणाम प्राप्त होंगे। घर में सामंजस्य की स्थिति बनी रहेगी और प्रेम जीवन में तो और भी प्रगाढ़ता देखी जा सकती है। प्रोफ़ेशनल प्रयासों में भी आपको जीवनसाथी का सहयोग प्राप्त होगा और ससुराल पक्ष से भी रिश्ता मजबूत होगा। गुरु के आशीर्वाद से आपके घर पर कोई शुभ कार्य भी हो सकता है। स्वास्थ्य लाभ मिलने के योग हैं।

उपाय: जिस अंगुली में आप अंगूठी पहनते हैं उसके द्वारा केसर का तिलक लगाएँ। तिलक को पहले नाभी में फिर गले में, उसके बाद दोनों कानों में, फिर माथे में और अंत में जीभ पर लगाएँ।

कर्क

वक्री के दौरान गुरु आपके तीसरे भाव में विराजमान होगा। इससे आपकी किस्मत चमकेगी। धार्मिक क्रिया-क्लापों में आपका मन अधिक लगेगा। हो सकता है इस दरम्यान आप तीर्थ यात्रा पर भी निकल जाएँ। वैवाहिक जीवन भी सुख शांति दिख रही है। परंतु आप अपने ठाठ-बाट के कारण कुछ आलसी भी हो सकते हैं। इसके विपरीत देखा जाए तो आय आगमन के भी अच्छे योग हैं। समाज में पहचान तो मिलेगी ही उसके साथ सम्मान भी प्राप्त होगा। पेशेवर जीवन में उन्नति दिख रही है। पिताजी आपके प्रयासों में मदद करेंगे। भाई-बहन भी हरसंभव मदद को तैयार रहेंगे। ध्यान रखिए, आपके विरोधी इस दौरान आप पर हावी होने के बारे में सोचेंगे। यदि आप अपने आलसीपन को दूर करेंगे तो निश्चित ही सफलता आपके क़दम चूमेगी। मौज-मस्ती के लिए आप छोटी यात्रा पर भी निकल सकते हैं।

उपाय: भगवान विष्णु और माँ लक्ष्मी जी की आराधना करें। साथ ही उन्हें चंदन की लकड़ी और पीत पुष्प भेंट करें।

सिंह

वक्री के दौरान गुरु आपके दूसरे भाव में रहेंगे। ऐसे में धन संचयी हेतु आप कड़ी मेहनत करेंगे। नौकरी-पेशा में लाभ प्राप्त होगा। घर में कोई धार्मिक आयोजन भी हो सकता है। गुरु की कृपा से कोई पैतृक संपत्ति भी प्राप्त हो सकती है। ससुराल पक्ष से लाभ पाने का कोई ज़रिया सामने आएगा। शिक्षा क्षेत्र में भी अच्छे परिणामों की प्राप्ति संभव है। बच्चे अपने मार्ग पर आगे बढ़ेंगे, हालाँकि स्वास्थ्य को लेकर आपको थोड़ी चिंता हो सकती है। मिष्ठान आदि न खाएँ। कोई पुराना उधार आप चुक्ता कर सकते हैं। घर में ख़ुशियों का माहौल देखने को मिलेगा। वहीं जो लोग शिक्षा एवं फ़ाइनेंस क्षेत्र से जुड़े हुए हैं, उन्हें बेतहाशा लाभ होने की उम्मीद है।

उपाय: प्रतिदिन भगवान राम की आराधना करें।

कन्या

वक्री के दौरान बृहस्पति कन्या राशि पर विराजमान रहेगा। ऐसे में आपके रिश्ते जीवनसाथी के साथ मधुर होंगे। आप एक-दूसरे की बख़ूबी मदद करेंगे, हालाँकि इस रिश्ते में किसी प्रकार की अनबन की भी गुंजाइश रहेगी। ख़र्च पर वृद्धि की संभावना है। रुके हुए क़ानूनी मसलों पर आपका समय व्यय हो सकता है, गुरु की कृपा से आपकी बौद्धिक क्षमता में वृद्धि होगी। धार्मिक क्रिया-क्लाप की ओर आपका झुकाव हो सकता है। माताजी के स्वास्थ्य पर भी सुधार देखने को मिलेगा। पेशेवर जीवन में साझेदारी को थोड़ा रोकें। आपके विदेश यात्रा पर जाने के योग बन रहे हैं। अपने लक्ष्य को पाने के लिए आप कठिन परिश्रम से नहीं चूकेंगे।

उपाय: गुरुवार के दिन ज़रुरतमंदों को नमक वितरण करें।

तुला

गुरु की कृपा आपके 12वें भाव में बरसेगी। ऐसे में आपके ख़र्च पर इसका प्रभाव देखने को मिलेगा। जेब से पैसा अधिक ख़र्च होगा, हालाँकि इसके साथ ही इनकम में वृद्धि होगी। कई श्रोतों से आय का आगमन संभव है। अपने व्यक्तिगत ख़र्चे के चलते हो सकता है आपको लोन लेने की आवश्यकता पड़े। ध्यान रखिए, आपके विरोधी आप पर हावी होने की फ़िराक़ में होंगे। स्वास्थ्य पर विपरीत असर पड़ सकता है, लिहाज़ा अपने खाने-पीने की चीज़ों पर विशेष ग़ौर कीजिए। यदि कोर्ट-कचहरी का मामला है तो शायद आपको इसमें आशानुरुप परिणाम प्राप्त न हो पाए। धार्मिक क्रिया-क्लाप की ओर आपका झुकाव हो सकता है। भाई-बहन को लाभ प्राप्ति के संकेत हैं। विदेश श्रोत मुनाफ़ा हो सकता है।

उपाय: केले के वृक्ष अथवा भगवान विष्णु के मंदिर पर आलू चढ़ाएँ।

वृश्चिक

गुरु के कन्या में वक्री के दौरान बृहस्पति आपके ग्यारहवें भाव में होगा। इससे नौकरी-पेशा में आपको लाभ मिलेगा। घरेलू जीवन में भी शांति एवं सामंजस्य बना रहेगा। हाँ, ऑफ़िस आदि में सीनियर्स के साथ बहसबाज़ी करने से बचेंगे तो परिणाम आपके हित में होगा। बस अपने काम पर आपका ध्यान रहना चाहिए। आप विरोधियों पर हावी रहेंगे और आय में वृद्धि में होने की संभावना है। आपका सामाजिक दायरा भी सकारात्मक होने का वादा कर रहा है। वक्री के दौरान आपके अंदर सुझाव एवं उपदेश देने की प्रवृति दिखेगी, हालाँकि दूसरे लोग इसे कैसे लेंगे यह उन पर निर्भर करेगा। गुरुवार के दिन ध्यान से किसी से पैसे उधार लेने से बचें। यदि किसी की शादी में देरी हो रही है तो वे मायूस न हों, बल्कि उस पल का मज़ा लें। शादी शुदा लोग भी जीने का पूरा आनंद उठाएँ।

उपाय: नहाने के पानी में हल्दी का मिश्रण करके नहाएँ और गुरुमंत्र का रोज़ जाप करें।

धनु

गुरु वक्री के दौरान बृहस्पति आपके दसवें भाव में विराजमान होगा। ऐसे में आप नौकरी-पेशा में अपने तय लक्ष्य को प्राप्त करेंगे। घरेलु जीवन में सामंजस्यपूर्ण परिस्थिति के साथ ख़ुशियों का माहौल बना रहेगा। आपकी दीर्घकाल से रुकी हई इच्छा भी पूर्ण हो पाएगी। इस दौरान आपका मन दान-दक्षिणा में ख़ूब लगेगा। आप किसी तीर्थ यात्रा पर भी जा सकते हैं, हालाँकि कोई लंबी यात्रा आपके योग में है। कार्यक्षेत्र में आपकी कड़ी मेहनत आपको सफलता की सीढ़ियों पर पहुँचाएगी। परिस्थितियों में सुधार होगा और आप कोई नया वाहन ख़रीदने पर भी विचार कर सकते हैं। छात्रो को भी शिक्षाक्षेत्र में लाभ प्राप्त होगा।

उपाय: “ओम् ग्रां ग्रीङ्ग ग्रोङ्ग सः गुरुवै: नम:” का जाप करें।

मकर

वक्री के दौरान गुरु आपके 9वें भाव में होगा जिसके कारण आपको विदेशी सरज़मीं से आय प्राप्त होगी। निजी एवं पेशेवर जीवन में भाई-बहन का सहयोग प्राप्त होगा। सेवा भाव में आप दान भी कर सकते हैं। छात्रों को पढ़ाई में सफलता मिलेगी और आध्यात्म में भी आपकी रुचि जागेगी। आप अपनी जॉब में परिवर्तन करने पर भी विचार कर सकते हैं। साझेदारी में व्यापार आपके लिए मुनाफ़ा कारक होगा, हालाँकि आपकी आय में वृद्धि की संभावना के साथ-साथ ख़र्चा भी ज़्यादा है, इसलिए बुद्धिमानी से पैसा ख़र्च करें।

उपाय: भगवान विष्णु को कपूर चढ़ाएँ।

कुंभ

वक्री के दौरान गुरु आपके आठवें भाव में विराजमान होगा जिससे आपके द्वारा धन अधिक व्यय होगा। इसके अलावा आपको आर्थिक हानि भी हो सकती है। ससुराल में भी आपका व्यापक ख़र्चा हो सकता है। जीवनसाथी के स्वास्थ्य में गिरावट देखी जा सकती है। आय में वृद्धि संभव तो है, परंतु इसके लिए आपको मेहनत करनी पड़ेगी। दूसरों से बात करते समय अपनी वाणी में धैर्य एवं संयम रखें। किसी के साथ ग़लत व्यवहार न करें। अन्यथा भविष्य के लिए यह आपके लिए हानि कारक सिद्ध हो सकती है। आपको कोई अनचाही यात्रा पर भी जाना पड़ सकता है। अपने स्वास्थ्य का विशेष ख़्याल रखें। खाने-पीने की चीज़ों को लेकर किसी प्रकार की कोताही न बरतें। स्वस्थ्य भोजन ही करें। अचानक किसी अनचाही परिस्थितियों से भी आपको गुजरना पड़ सकता है, लिहाजा़ उसके लिए तैयार रहें।

उपाय: पीपल के वृक्ष की जड़ में शुद्ध जल, हल्दी, कपूर एवं नींबू चढ़ाएँ।

मीन

वक्री के दौरान गुरु आपके सातवें भाव में विराजमान होगा जिसके कारण आपकी मैरिड लाइफ़ के ख़ुशहाल रहने के योग हैं। आप अपने जीवनसाथी के प्रति ईमानदार रहेंगे। गुरु का कन्या में वक्री आपके लिए लाभकारी है। आर्थिक लाभ आपके योग में है और व्यापार में इसका फ़ायदा आपको दिखता हुआ नज़र आएगा। पार्टनरशिप बिजनेस में भी लाभ मिलेगा। स्वास्थ्य की दृष्टि से यह वक्री लाभकारी है। किसी बीमारी अथवा कोई चोट से आप उभर पाएंगे। आपका सामाजिक दायरा भी बढ़ेगा और नौकरी पेशा में भी सफलता हाथ लगेगी, बशर्ते आपको अपनी बुद्धि और परिश्रम का उपयोग करना होगा। आध्यात्म की ओर आपकी रुचि हो सकती है। बजाय निराशावादी होने के सकारात्मक व्यक्ति बनें और यही आपकी सोच होनी चाहिए।

उपाय: "ओम् ब्रिम बृहस्पते: नम:" का जाप करें।
  सधन्यवाद,
    आचार्य राजेश कुमार
    संपर्क सूत्र-9454320396/7607718546

आज गुरुदेव कन्या राशि में बक्री हुए

"दिव्यांश ज्योतिष् केंद्र"
            आज  कन्या राशि में गुरु वक्री हुए
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आज दिनांक 6 फ़रवरी 2017 को 12:12 बजे गुरु कन्या राशि में वक्री हो रहे हैं जो कि 9 जून 2017 को 19:35 बजे यहाँ से अग्रसर होंगे,  इस वक्री होने के दौरान गुरु का प्रभाव आपके जीवन पर कैसे पड़ेगी यह जानने के लिए अपनी राशिफल अवश्य पढ़े ।

मेष

वक्री के दौरान गुरु आपके छटे भाव में रहेगा। ऐसे में आप बेहतर परिणाम पाने के लिए बहुत मेहनत करेंगे। आपके स्वास्थ्य में भी वक्री के दौरान ज़बरदस्त सुधार देखने को मिलेगा। आप मोटापा के शिकार हो सकते हैं, लिहाज़ा इसका ख़्याल रखें। हालाँकि कुछ क़ानूनी मसले आपको परेशान कर सकते हैं, परंतु चिंता की कोई बात नहीं है उनका परिणाम आपके हित में होगा। वहीं जो छात्र उच्च शिक्षा का विचार कर रहे हैं किस्मत उनके साथ है। आप अपने जन्मस्थान को लेकर कोई बड़ा निर्णय ले सकते हैं। आप अपनी इनकम में वृद्धि को लेकर नए श्रोतों को खोजने में सफल रहेंगे, जो आपके भविष्य को संवारेगा। आपके पिता भी आप पर गर्व महसूस करेंगे।

उपाय: पानी में हल्दी डालकर नहाएँ।

वृषभ

वक्री के दौरान गुरु आपके पाँचवें भाव में रहेगा, जिससे आपको शिक्षाक्षेत्र में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव देखने को मिलेंगे। आर्थिक पक्ष के लिहाज से अचानक लाभ मिलेगा, जिससे आपकी आय में इज़ाफ़ा होगा, हालाँकि इसके लिए आपको कड़ी मेहनत भी करनी होगी। आपकी रुचि ज्ञान प्राप्त करने एवं कुछ सीखने के प्रति कुछ ज़्यादा होगी। पर्सनल रिलेशनशिप में आप बड़ा बदलाव पाएंगे। हो सकता है इस रिश्ते को आप शादी में बदलने का वादा करें। इस दौरान आप किसी विवाद आदि में न पड़े अन्यथा आपके लिए यह बड़ी समस्या पैदा कर सकता है। बच्चों को लाभ मिलेगा। छात्र भी शिक्षा क्षेत्र में अपने लक्ष्यों को भेदेंगे। बड़े भाई-बहन से आपको निश्चित ही कोई लाभ मिलने की संभावना है। कार्यक्षेत्र में यदि आपको कोई दिक़्क़त आएगी तो सीनियर्स की सहायता वह समस्या दूर हो जाएगी। आध्यात्म में आपकी रुचि बढ़ेगी।

उपाय: अपने दाहिने हाथ में सरसों के सात बीज पकड़ें और मुख को सात बार घड़ी की विपरीत दिशा में घुमाएँ और बाद में बीज फेंक दें।

मिथुन

वक्री के दौरान गुरु की कृपा आपके चौथे भाव में होगी। ऐसे में आपके वैवाहिक जीवन में इसका सकारात्मक असर देखने को मिलेगा। आप किसी तीर्थ यात्रा पर भी जा सकते हैं। पेशेवर जीवन में लाभ मिलेगा। साथ ही यदि आप साझेदारी में व्यवसाय कर रहे हैं तो आपको व्यापार में मुनाफ़ा देखने को मिलेगा। कार्यक्षेत्र में भी आपको बेहतर परिणाम प्राप्त होंगे। घर में सामंजस्य की स्थिति बनी रहेगी और प्रेम जीवन में तो और भी प्रगाढ़ता देखी जा सकती है। प्रोफ़ेशनल प्रयासों में भी आपको जीवनसाथी का सहयोग प्राप्त होगा और ससुराल पक्ष से भी रिश्ता मजबूत होगा। गुरु के आशीर्वाद से आपके घर पर कोई शुभ कार्य भी हो सकता है। स्वास्थ्य लाभ मिलने के योग हैं।

उपाय: जिस अंगुली में आप अंगूठी पहनते हैं उसके द्वारा केसर का तिलक लगाएँ। तिलक को पहले नाभी में फिर गले में, उसके बाद दोनों कानों में, फिर माथे में और अंत में जीभ पर लगाएँ।

कर्क

वक्री के दौरान गुरु आपके तीसरे भाव में विराजमान होगा। इससे आपकी किस्मत चमकेगी। धार्मिक क्रिया-क्लापों में आपका मन अधिक लगेगा। हो सकता है इस दरम्यान आप तीर्थ यात्रा पर भी निकल जाएँ। वैवाहिक जीवन भी सुख शांति दिख रही है। परंतु आप अपने ठाठ-बाट के कारण कुछ आलसी भी हो सकते हैं। इसके विपरीत देखा जाए तो आय आगमन के भी अच्छे योग हैं। समाज में पहचान तो मिलेगी ही उसके साथ सम्मान भी प्राप्त होगा। पेशेवर जीवन में उन्नति दिख रही है। पिताजी आपके प्रयासों में मदद करेंगे। भाई-बहन भी हरसंभव मदद को तैयार रहेंगे। ध्यान रखिए, आपके विरोधी इस दौरान आप पर हावी होने के बारे में सोचेंगे। यदि आप अपने आलसीपन को दूर करेंगे तो निश्चित ही सफलता आपके क़दम चूमेगी। मौज-मस्ती के लिए आप छोटी यात्रा पर भी निकल सकते हैं।

उपाय: भगवान विष्णु और माँ लक्ष्मी जी की आराधना करें। साथ ही उन्हें चंदन की लकड़ी और पीत पुष्प भेंट करें।

सिंह

वक्री के दौरान गुरु आपके दूसरे भाव में रहेंगे। ऐसे में धन संचयी हेतु आप कड़ी मेहनत करेंगे। नौकरी-पेशा में लाभ प्राप्त होगा। घर में कोई धार्मिक आयोजन भी हो सकता है। गुरु की कृपा से कोई पैतृक संपत्ति भी प्राप्त हो सकती है। ससुराल पक्ष से लाभ पाने का कोई ज़रिया सामने आएगा। शिक्षा क्षेत्र में भी अच्छे परिणामों की प्राप्ति संभव है। बच्चे अपने मार्ग पर आगे बढ़ेंगे, हालाँकि स्वास्थ्य को लेकर आपको थोड़ी चिंता हो सकती है। मिष्ठान आदि न खाएँ। कोई पुराना उधार आप चुक्ता कर सकते हैं। घर में ख़ुशियों का माहौल देखने को मिलेगा। वहीं जो लोग शिक्षा एवं फ़ाइनेंस क्षेत्र से जुड़े हुए हैं, उन्हें बेतहाशा लाभ होने की उम्मीद है।

उपाय: प्रतिदिन भगवान राम की आराधना करें।

कन्या

वक्री के दौरान बृहस्पति कन्या राशि पर विराजमान रहेगा। ऐसे में आपके रिश्ते जीवनसाथी के साथ मधुर होंगे। आप एक-दूसरे की बख़ूबी मदद करेंगे, हालाँकि इस रिश्ते में किसी प्रकार की अनबन की भी गुंजाइश रहेगी। ख़र्च पर वृद्धि की संभावना है। रुके हुए क़ानूनी मसलों पर आपका समय व्यय हो सकता है, गुरु की कृपा से आपकी बौद्धिक क्षमता में वृद्धि होगी। धार्मिक क्रिया-क्लाप की ओर आपका झुकाव हो सकता है। माताजी के स्वास्थ्य पर भी सुधार देखने को मिलेगा। पेशेवर जीवन में साझेदारी को थोड़ा रोकें। आपके विदेश यात्रा पर जाने के योग बन रहे हैं। अपने लक्ष्य को पाने के लिए आप कठिन परिश्रम से नहीं चूकेंगे।

उपाय: गुरुवार के दिन ज़रुरतमंदों को नमक वितरण करें।

तुला

गुरु की कृपा आपके 12वें भाव में बरसेगी। ऐसे में आपके ख़र्च पर इसका प्रभाव देखने को मिलेगा। जेब से पैसा अधिक ख़र्च होगा, हालाँकि इसके साथ ही इनकम में वृद्धि होगी। कई श्रोतों से आय का आगमन संभव है। अपने व्यक्तिगत ख़र्चे के चलते हो सकता है आपको लोन लेने की आवश्यकता पड़े। ध्यान रखिए, आपके विरोधी आप पर हावी होने की फ़िराक़ में होंगे। स्वास्थ्य पर विपरीत असर पड़ सकता है, लिहाज़ा अपने खाने-पीने की चीज़ों पर विशेष ग़ौर कीजिए। यदि कोर्ट-कचहरी का मामला है तो शायद आपको इसमें आशानुरुप परिणाम प्राप्त न हो पाए। धार्मिक क्रिया-क्लाप की ओर आपका झुकाव हो सकता है। भाई-बहन को लाभ प्राप्ति के संकेत हैं। विदेश श्रोत मुनाफ़ा हो सकता है।

उपाय: केले के वृक्ष अथवा भगवान विष्णु के मंदिर पर आलू चढ़ाएँ।

वृश्चिक

गुरु के कन्या में वक्री के दौरान बृहस्पति आपके ग्यारहवें भाव में होगा। इससे नौकरी-पेशा में आपको लाभ मिलेगा। घरेलू जीवन में भी शांति एवं सामंजस्य बना रहेगा। हाँ, ऑफ़िस आदि में सीनियर्स के साथ बहसबाज़ी करने से बचेंगे तो परिणाम आपके हित में होगा। बस अपने काम पर आपका ध्यान रहना चाहिए। आप विरोधियों पर हावी रहेंगे और आय में वृद्धि में होने की संभावना है। आपका सामाजिक दायरा भी सकारात्मक होने का वादा कर रहा है। वक्री के दौरान आपके अंदर सुझाव एवं उपदेश देने की प्रवृति दिखेगी, हालाँकि दूसरे लोग इसे कैसे लेंगे यह उन पर निर्भर करेगा। गुरुवार के दिन ध्यान से किसी से पैसे उधार लेने से बचें। यदि किसी की शादी में देरी हो रही है तो वे मायूस न हों, बल्कि उस पल का मज़ा लें। शादी शुदा लोग भी जीने का पूरा आनंद उठाएँ।

उपाय: नहाने के पानी में हल्दी का मिश्रण करके नहाएँ और गुरुमंत्र का रोज़ जाप करें।

धनु

गुरु वक्री के दौरान बृहस्पति आपके दसवें भाव में विराजमान होगा। ऐसे में आप नौकरी-पेशा में अपने तय लक्ष्य को प्राप्त करेंगे। घरेलु जीवन में सामंजस्यपूर्ण परिस्थिति के साथ ख़ुशियों का माहौल बना रहेगा। आपकी दीर्घकाल से रुकी हई इच्छा भी पूर्ण हो पाएगी। इस दौरान आपका मन दान-दक्षिणा में ख़ूब लगेगा। आप किसी तीर्थ यात्रा पर भी जा सकते हैं, हालाँकि कोई लंबी यात्रा आपके योग में है। कार्यक्षेत्र में आपकी कड़ी मेहनत आपको सफलता की सीढ़ियों पर पहुँचाएगी। परिस्थितियों में सुधार होगा और आप कोई नया वाहन ख़रीदने पर भी विचार कर सकते हैं। छात्रो को भी शिक्षाक्षेत्र में लाभ प्राप्त होगा।

उपाय: “ओम् ग्रां ग्रीङ्ग ग्रोङ्ग सः गुरुवै: नम:” का जाप करें।

मकर

वक्री के दौरान गुरु आपके 9वें भाव में होगा जिसके कारण आपको विदेशी सरज़मीं से आय प्राप्त होगी। निजी एवं पेशेवर जीवन में भाई-बहन का सहयोग प्राप्त होगा। सेवा भाव में आप दान भी कर सकते हैं। छात्रों को पढ़ाई में सफलता मिलेगी और आध्यात्म में भी आपकी रुचि जागेगी। आप अपनी जॉब में परिवर्तन करने पर भी विचार कर सकते हैं। साझेदारी में व्यापार आपके लिए मुनाफ़ा कारक होगा, हालाँकि आपकी आय में वृद्धि की संभावना के साथ-साथ ख़र्चा भी ज़्यादा है, इसलिए बुद्धिमानी से पैसा ख़र्च करें।

उपाय: भगवान विष्णु को कपूर चढ़ाएँ।

कुंभ

वक्री के दौरान गुरु आपके आठवें भाव में विराजमान होगा जिससे आपके द्वारा धन अधिक व्यय होगा। इसके अलावा आपको आर्थिक हानि भी हो सकती है। ससुराल में भी आपका व्यापक ख़र्चा हो सकता है। जीवनसाथी के स्वास्थ्य में गिरावट देखी जा सकती है। आय में वृद्धि संभव तो है, परंतु इसके लिए आपको मेहनत करनी पड़ेगी। दूसरों से बात करते समय अपनी वाणी में धैर्य एवं संयम रखें। किसी के साथ ग़लत व्यवहार न करें। अन्यथा भविष्य के लिए यह आपके लिए हानि कारक सिद्ध हो सकती है। आपको कोई अनचाही यात्रा पर भी जाना पड़ सकता है। अपने स्वास्थ्य का विशेष ख़्याल रखें। खाने-पीने की चीज़ों को लेकर किसी प्रकार की कोताही न बरतें। स्वस्थ्य भोजन ही करें। अचानक किसी अनचाही परिस्थितियों से भी आपको गुजरना पड़ सकता है, लिहाजा़ उसके लिए तैयार रहें।

उपाय: पीपल के वृक्ष की जड़ में शुद्ध जल, हल्दी, कपूर एवं नींबू चढ़ाएँ।

मीन

वक्री के दौरान गुरु आपके सातवें भाव में विराजमान होगा जिसके कारण आपकी मैरिड लाइफ़ के ख़ुशहाल रहने के योग हैं। आप अपने जीवनसाथी के प्रति ईमानदार रहेंगे। गुरु का कन्या में वक्री आपके लिए लाभकारी है। आर्थिक लाभ आपके योग में है और व्यापार में इसका फ़ायदा आपको दिखता हुआ नज़र आएगा। पार्टनरशिप बिजनेस में भी लाभ मिलेगा। स्वास्थ्य की दृष्टि से यह वक्री लाभकारी है। किसी बीमारी अथवा कोई चोट से आप उभर पाएंगे। आपका सामाजिक दायरा भी बढ़ेगा और नौकरी पेशा में भी सफलता हाथ लगेगी, बशर्ते आपको अपनी बुद्धि और परिश्रम का उपयोग करना होगा। आध्यात्म की ओर आपकी रुचि हो सकती है। बजाय निराशावादी होने के सकारात्मक व्यक्ति बनें और यही आपकी सोच होनी चाहिए।

उपाय: "ओम् ब्रिम बृहस्पते: नम:" का जाप करें।
  सधन्यवाद,
    आचार्य राजेश कुमार
    संपर्क सूत्र-9454320396/7607718546

Monday 30 January 2017

Divyansh Jyotish Kendra

"दिव्यांश ज्योतिष् केंद्र" आपका हार्दिक स्वागत एवं अभिनंदन करता है।

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टीम दिव्यांश ज्योतिष्

Friday 27 January 2017

शुक्र का मीन राशि में गोचर

"दिव्यांश ज्योतिष् केंद्र"
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आज 27 जनवरी2017 को शुक्र ग्रह का मीन राशि में गोचर का आप पर प्रभाव:-

वैदिक ज्योतिष में शुक्र की गिनती एक लाभदाता ग्रह के रूप में होती है। शुक्र जीवन साथी, प्रेम, विवाह, विलासिता, सुख-समृद्धि, कला और भौतिक सुख-सुविधाओं आदि का प्रतीक है। शुक्र के प्रभाव से ही जीवन में सुख-सुविधा और विलासिता की प्राप्ति होती है। शुक्र के संयोग से ही नाम और ख्याति पाने के योग बनते हैं। शुक्र ग्रह वृषभ और तुला राशि का स्वामी है। शुक्र मीन राशि में उच्च भाव में रहता है जबकि कन्या राशि में नीच भाव में होता है। जिन जातकों की कुंडली में शुक्र उच्च भाव में रहता है, उन लोगों के जीवन में भौतिक सुख-सुविधाओं की वृद्धि होती है और विलासिता पूर्ण जीवन व्यतीत करते हैं। वहीं कुंडली में शुक्र के नीचे भाव में रहने से विलासिता और सुख-समृद्धि में कमी आती है।

27 जनवरी को शुक्र ग्रह मीन राशि में गोचर करेगा और यहां मजबूत स्थिति में रहेगा। 4 मार्च को शुक्र वक्रीय गति करेगा और 15 अप्रैल मार्गिय गति करेगा। 31 मई को शुक्र ग्रह मेष राशि में प्रवेश करेगा। शुक्र के मीन राशि में होने वाले इस गोचर का सभी राशियों पर प्रभाव पड़ेगा।

मेष

शुक्र ग्रह आपके बारहवें भाव में गोचर करेगा। इसके फलस्वरूप आत्मबल में वृद्धि होगी और आप विरोधियों पर हावी रहेंगे। पारिवारिक जीवन भी बेहद अच्छा बीतेगा। हर्ष और उल्लास के लिए जीवन साथी, परिजन या दोस्तों के साथ बाहर जाने की योजना बना सकते हैं। इस दौरान आप जीवन साथी के साथ अच्छा समय व्यतीत करेंगे। शुक्र के बारहवें भाव में होने से खर्च बढ़ेंगे, खासकर भौतिक सुख-सुविधाओं से जुड़ी चीज़ों पर ज्यादा खर्च होगा। एक बात का विशेष ध्यान रखें कि किसी की इच्छा के विरूद्ध जाकर अंतरंग या कामुक संबंध बनाने की कोशिश ना करें वरना ये कृत्य आपके स्वास्थ्य और छवि दोनों के लिए हानिकारक साबित हो सकता है। जीवन साथी की सेहत का ख्याल रखें क्योंकि शुक्र के गोचर के दौरान उनके स्वास्थ्य में गिरावट की आशंका है।

उपाय: गाय को नियमित रूप से रोटी खिलाएं।

वृषभ

शुक्र के आपकी राशि से ग्यारहवें में गोचर करने से सुखद योग बन रहे हैं। आय और सामाजिक मान प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी। इस दौरान आप कई सामाजिक कार्यों में सक्रिय रूप से शामिल होंगे। इसके फलस्वरूप लोगों से मेल-जोल बढ़ेगा। सबसे खास बात है कि शुक्र के इस गोचर के दौरान आपकी वह इच्छा पूरी होने वाली है जिसका आप लंबे समय से इंतज़ार कर रहे थे। इस अवधि में आपको वह सफलता मिलने वाली है, जिसकी आप लंबे समय से कामना कर रहे थे। कार्य स्थल पर आप पूरी लगन और समर्पण के साथ काम करते रहेंगे। दोस्तों के साथ कहीं घूमने जा सकते हैं। भौतिक और विलासिता पूर्ण जीवन की ओर झुकाव बढ़ेगा। प्रेम संबंधों में रोमांटिक विचारों का संचार जारी रहेगा हालांकि इस दौरान लव पार्टनर के साथ विवाद हो सकता है। जिससे आपके प्रेम संबंध प्रभावित हो सकते हैं। लव मैरिज करने की इच्छा बढ़ेगी। जीवन साथी या बिज़नेस पार्टनर की मदद से आपको लाभ मिलने के योग हैं। सेहत का ख्याल रखें, नियमित रूप से आराम करें और संतुलित भोजन करें। शराब का सेवन करने से बचें।

उपाय: शुक्रवार को खीर बनाकर छोटी बच्चियों को बांटे। स्वयं भी मीठे व्यंजन खायें।

मिथुन

शुक्र का यह गोचर आपके लिए मिश्रित परिणाम लेकर आएगा। आपकी राशि में शुक्र दसवें भाव में स्थित रहेगा। इस दौरान प्रोफेशनल और पर्सनल लाइफ में अच्छे और कड़वे दोनों तरह के नतीजे देखने को मिल सकते हैं। कार्य स्थल पर महिलाओं के साथ बेहतर संबंध बनाए रखने की कोशिश करें। वे लोग जो पढ़ाई पूरी होने के बाद नौकरी की तलाश में हैं उन्हें अच्छे अवसर मिलेंगे। सामाजिक और व्यवसायिक जीवन में अच्छी छवि और विश्वसनीयता बनाये रखने के लिए आपको अपने बौद्धिक कौशल से लोगों पर बेहतर छाप छोड़नी पड़ेगी। गोचर के आखिरी पड़ाव के दौरान विदेशी संस्था से व्यवसायिक साझेदारी हो सकती है। आप परिवार को भरपूर समय देंगे जिससे आपके पारिवारिक रिश्ते और भी मजबूत होंगे। घर के सौंदर्यीकरण और भौतिक सुख-सुविधाओं पर कुछ पैसा खर्च कर सकते हैं। बेकार की गॉसिप से दूर रहें वरना आप किसी साजिश के शिकार हो सकते हैं।

उपाय: रोजाना गाय को चारा खिलाएं।

कर्क

शुक्र आपकी राशि के नौंवे भाव में गोचर कर रहा है। इसके फलस्वरूप आमदनी में वृद्धि होने के योग हैं साथ ही कार्य स्थल पर कोई शुभ समाचार मिल सकता है। शुक्र के इस गोचर के दौरान भाग्य आपका पूरी तरह से साथ देगा। इस अवधि में आप जहां चाहेंगे वहां आपको सफलता मिलेगी। लंबी दूरी की यात्रा की योजना बना सकते हैं। प्रियजनों के साथ पिकनिक या सैर-सपाटे पर जा सकते हैं। इस गोचर से आपके बड़े भाई-बहनों को लाभ पहुंच सकता है। कार्य स्थल पर वरिष्ठ कर्मियों के साथ संबंध मधुर होंगे। सहकर्मी आपकी मदद करेंगे। पारिवारिक जीवन बेहद अच्छा रहेगा। नया घर खरीदने के बारे में सोच सकते हैं।

उपाय: भगवान शिव की आराधना करें और बिना टूटे हुए चावल चढ़ाएं।

सिंह

शुक्र आपकी राशि के आठवें भाव में गोचर करेगा। आठवें भाव में मंगल के पहले से मौजूद होने की वजह से शुक्र का यह गोचर आपके लिए उतना लाभकारी नहीं रहेगा। शुक्र और मंगल के एक ही भाव में होने की वजह से कामुक विचारों में उत्तेजना बढ़ेगी, इसलिए स्वयं पर नियंत्रण रखने की कोशिश करें वरना ऐसे ग़लत कृत्यों की वजह से आपकी छवि को नुकसान पहुंच सकता है। कार्य स्थल पर कुछ मतभेदों की वजह से निराशा हाथ लगेगी, बेकार की गॉसिप बिल्कुल ना करें। प्रोफेशनल और पर्सनल लाइफ में अचानक किसी समस्या के आ जाने की वजह से मानसिक शांति भंग होगी। छोटे भाई-बहनों के साथ मतभेद हो सकता है। आपकी सेहत में भी गिरावट आ सकती है। बेवजह तनाव लेने से बचें और हर परिस्थिति में संयम के साथ काम लें। शुक्र के इस गोचर के फलस्वरूप आय में वृद्धि होगी हालांकि आमदनी बढ़ने से खर्च भी बढ़ेंगे। इसलिए बेहतर वित्तीय प्रबंधन के साथ चलने की आवश्यकता है।

उपाय: रोजाना सूर्य देव को जल चढ़ाएं।

कन्या

शुक्र आपकी राशि से सातवें भाव में गोचर करेगा। इस दौरान जीवन साथी या प्रियतम के साथ प्यार और तकरार होगी। एक ओर जहां प्यार बढ़ेगा वहीं दूसरी ओर छोटी-मोटी बातों को लेकर विवाद होंगे। जीवन साथी को खुश रखने के लिए आप बार-बार प्यार का इज़हार करेंगे। इस दौरान आपकी पत्नी आप पर हावी रहेगी लेकिन संघर्ष के दौरान आपकी मदद करेगी। पारिवारिक जीवन में विवादों से बचने की कोशिश करें वरना बेवजह तनाव पैदा होगा। ऐसी परिस्थितियों में धैर्य के साथ काम लें। शुक्र के गोचर के दौरान आपकी सेहत खराब हो सकती है।

उपाय: भगवान गणेश की आराधना करें और उन्हें ध्रुवा चढ़ाएं।

तुला

शुक्र का मीन राशि में होने वाला गोचर तुला राशि के जातकों के लिए कई मामलों में लाभकारी होगा। इस दौरान शुक्र आपकी राशि से छठवें भाव में गोचर करेगा। इसके परिणामस्वरूप पारिवारिक जीवन से जुड़े से सभी मामलों में जीत आपकी होगी। जीवन साथी के साथ रिश्तों में कड़वाहट आ सकती है इसलिए बेहतर होगा कि उनकी चिंताओं को समझें और उस पर ध्यान दें। शुक्र के प्रभाव से स्थिरता, सहनशीलता और साहस मिलेगा। इस गोचर के दौरान सेहत खराब रह सकती है, विशेषकर पेट की निचले हिस्से में कोई परेशानी हो सकती है। परिजन और दोस्तों के साथ लंबी दूरी की यात्रा की योजना बना सकते हैं। किसी कानूनी विवाद में फंसने की आशंका नज़र आ रही है, हालांकि बाद में सब कुछ सामान्य हो जाएगा। इस गोचर के दौरान आपके खर्च अचानक बढ़ सकते हैं। रहस्यमयी और गुप्त चीज़ों के प्रति आकर्षण बढ़ेगा। निवेश और धन संबंधी मामलों में थोड़ी सावधानी बरतने की जरुरत है। इसके अलावा पर्सनल और प्रोफेशनल लाइफ से जुड़ा कोई भी बड़ा फैसला फिलहाल ना लें। क्योंकि इन मामलों के लिए यह समय सही नहीं है।

उपाय: माता महालक्ष्मी की आराधना करें और उन्हें लाल फूल चढ़ाएं।

वृश्चिक

शुक्र का मीन राशि में गोचर वृश्चिक राशि के जातकों के प्रेम संबंधों के लिए बेहद अनुकूल रहने वाला है। आपकी राशि में शुक्र के पांचवें भाव में संचरण करने की वजह से आपका झुकाव अपने प्रियतम और जीवन साथी की ओर बढ़ेगा। इस दौरान आपके रिश्तों में गर्माहट आएगी और प्यार व आपसी लगाव बढ़ेगा। जीवन साथी या प्रियतम के साथ अंतरंग संबंध भी बेहतर रहेंगे। प्रेम प्रसंग से जुड़े मामलों में आचरण सामान्य रखें। अपने जीवन साथी या प्रियतम की इच्छा को जाने और फिर अपनी राय जाहिर करें। शैक्षाणिक पेशे से जुड़े जातकों को अच्छी तरक्की मिलने की संभावना है। शुक्र के प्रभाव से कार्य स्थल पर पूरी लगन और मेहनत के साथ काम करेंगे। आय में वृद्धि होने की संभावना है। वे लोग जो उच्च शिक्षा के लिए विदेश जाने की कोशिश कर रहे हैं उन्हें सफलता मिलने के पूरे योग बन रहे हैं। आखिरी में सबसे खास बात अविवाहित जातकों के लिए लव मैरिज पूरी संभावना बन रही है।

उपाय: भगवान विष्णु की नियमित उपासना करें।

धनु

इस गोचर के दौरान शुक्र ग्रह आपकी राशि से चौथे भाव में स्थित होगा। यह शुक्र की यह स्थिति पारिवारिक जीवन के लिए सही नहीं है। घर में मतभेद होने से टकराव बढ़ेगा और विवाद के हालात पैदा होंगे। मानसिक शांति और संतुष्टि नहीं मिलने से आप तनाव में रहेंगे इसलिए बेहतर होगा कि, हर परिस्थिति में शांति और धैर्य के साथ काम लें। जल्दबाजी में कोई भी निर्णय लेने से बचें। हर मुश्किल वक्त समय के साथ धीरे-धीरे बीत जाएगा और हालात बेहतर होंगे। कार्य स्थल पर आप अपने काम से लोगों को हैरत में डाल देंगे। कार्य के प्रति आपके समर्पण और प्रतिबद्धता को सराहा जाएगा। सबसे खास बात है कि इस गोचर के दौरान आपके घर का सपना पूरा हो सकता है। इस संबंध में आप लोन लेकर स्वयं का घर खरीद सकते हैं। जो लोग कार खरीदने की सोच रहे हैं, वे 2 मार्च के बाद इस बारे में निवेश करें। क्योंकि इस तरह के निवेश के लिए यह समय आपके लिए बेहद शुभ रहेगा।

उपाय: रोजाना माथे पर केशर का तिलक लगाएं।

मकर

इस गोचर के दौरान शुक्र आपकी राशि से तीसरे भाव में स्थित होगा। यह समय प्रोफेशनल लाइफ के लिए बेहद अनुकूल रहने वाला है। कार्य स्थल पर कड़ी मेहनत का परिणाम मिलेगा और तरक्की होगी। इस अवधि में नई जॉब के बारे में भी सोच सकते हैं। आप सभी तरह की चुनौतियों का सामान करने के लिए तैयार रहेंगे। अगर बिज़नेस में चाहें तो कोई बड़ा कदम उठा सकते हैं। क्योंकि आपका यह फैसला निकट भविष्य में आपके लिए बेहद लाभकारी रहेगा। आपके बच्चों को पढ़ाई में अभूतपूर्व उन्नति देखने को मिलेगी। आपके छोटे भाई-बहन स्वास्थ्य संबंधी परेशानी से पीड़ित रह सकते हैं। ऑफिस में किसी भी काम के लिए अपने सहकर्मियों पर निर्भर नहीं रहे। वरिष्ठ अधिकारी आपके कामकाज़ पर पैनी नज़र रख सकते हैं, इसलिए लगातार बेहतर करने की कोशिश करें।

उपाय: शनिवार को हनुमान चालीसा का पाठ करें।

कुम्भ

इस गोचर के दौरान शुक्र आपकी राशि से दूसरे भाव में स्थित होगा। शुक्र की यह स्थिति इस बात का संकेत है कि आपके घर में शादी या अन्य कोई मांगलिक कार्य संपन्न हो सकते हैं। शुक्र के प्रभाव से आप हर वक्त ऊर्जा और उत्साह से भरपूर रहेंगे। इस अवधि में धन हानि हो सकती है और खर्चे भी बढ़ेंगे इसलिए आर्थिक मामलों पर ध्यान देने की जरुरत है। हालांकि दूसरी ओर आमदनी बढ़ने के भी योग हैं। वे लोग जो अपनी प्रॉपर्टी के बिज़नेस से जुड़े हैं या फिर अपनी संपत्ति बेचने के बारे में सोच रहे हैं उन्हें इस अवधि में अच्छा लाभ हो सकता है। परिवार के किसी सदस्य के साथ विवाद होने की आशंका नज़र आ रही है। इस गोचर की अवधि में पिता की सेहत का खास ख्याल रखें। कार्य स्थल पर आपका प्रभाव बढ़ेगा। वाहन चलाते समय सावधानी बरतें क्योंकि दुर्घटना में चोटिल होने की आशंका बन रही है।

उपाय: मंगलवार को हनुमान जी के मंदिर पर गुड़ का दान करें।

मीन

शुक्र का गोचर आपकी राशि में होगा और यह आपके लग्न भाव में स्थित रहेगा। शुक्र के प्रभाव से आप मानसिक रूप से बेहद अच्छा व स्वयं को ऊर्जावान महसूस करेंगे। इस अवधि में आप अंतरंग और प्रेम संबंधों में लिप्त रहेंगे। वे लोग जिनका पहले से प्रेम प्रसंग चल रहा है वे एक-दूसरे के और नज़दीक आएंगे। इस दौरान आप अपने लव पार्टनर को अपना लाइफ पार्टनर बनाने की दिशा में आगे बढ़ेंगे यानि आप लव मैरिज कर सकते हैं। धन और बौद्धिक कौशल का बेवजह दिखावा करने से बचें वरना आप मुश्किल में पड़ सकते हैं। वैवाहिक जीवन में शांति बनी रहेगी लेकिन कुछ बातों को लेकर ग़लतफ़हमी पैदा हो सकती है लिहाजा इन बातों पर ज्यादा ध्यान ना दें। प्रोफेशन और करियर को लेकर आपकी सोच व इच्छाशक्ति में बढ़ोतरी होगी। ऑफिस के अंदर आपकी कार्य क्षमता में लगातार सुधार देखने को मिलेगा।

उपाय: रोजाना विष्णु सहस्त्रनाम का जाप करें।

 गोचर के दौरान आपके जीवन की राह आसान हो। बेहतर जीवन और बेहतर स्वास्थ्य के लिए आपको अनंत शुभकामनाएं।
                   आचार्य राजेश कुमार
                   दिव्यांश ज्योतिष् केंद्र
                              कॉन्टेक्ट-9454320396/
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